पुष्पगिरी मे 4 अप्रैल से श्री 1008 पद्मप्रभु पंचकल्याणक प्रतिष्ठा व महामस्तकभिषेक महामहोत्सव
देवास ! ( देवपुरी वंदना) ” तेरे पांच हुए कल्याण प्रभु एक बार मेरा कल्याण कर दे ” पंचकल्याणक महामहोत्सव, अध्यात्मिक उत्सवों में सबसे अधिक प्रसिद्ध और सबसे बड़ा उत्सव माना जाता है। यह पंचकल्याणक महोत्सव 5 दिन तक चलने वाली वह प्रक्रिया है जो जन सामान्य को बहुत सरल रूप से यह समझा देती है कि एक पाषाण प्रतिमा कैसे भगवान के रूप में रूपांतरित हो जाती है! इसी भावना को भाते हुए मानव जीवन के पुण्य प्रताप से शुभ अवसर आया है मध्य प्रदेश के इंदौर भोपाल के मध्य प्रसिद्ध तीर्थ क्षेत्र पुष्पगिरी देवास से 25 किलोमीटर, इंदौर से 70 किलोमीटर ,भोपाल से 120 किलोमीटर, स्थित क्षेत्र में आगामी सोमवार 4 अप्रैल 2022 से पंचकल्याणक महांमहोत्सव व महामस्तकाभिषेक करने का शुभ अवसर आरहा है।
जिसमें पावन आशीर्वाद एवं सान्निध्य प्रेरणा पुंज गणाचार्य श्री 108 पुष्पदंत सागर जी महाराज ,
पावन प्रेरणा संस्कार प्रणेता मुनि श्री 108 सौरभ सागर जी महाराज का तो रहेगा ही।
विगत 22 माह में बना एक विशाल , आकर्षक हमारे छठवें तीर्थंकर श्री1008 पद्म प्रभु भगवान का गगनचुंबी जिनालय जो सड़क से 230 फीट ऊंचे, पुष्पगिरी पर्वत पर 48 फीट ऊंची वेदिका पर 15 फीट चौड़े,सवा 5 फीट ऊंचे कमलासन पर दिव्य केश विन्यास से युक्त 21 फीट उतंग, पद्मासन, पूज्य गुरुवर गणाचार्य श्री पुष्पदंत सागर जी महाराज के इष्टदेव 1008 श्री पदमप्रभु भगवान जिन प्रतिमा की नील गगन के चंद्रमा तले होगी दिव्य मूर्ति में मूर्तिमान की स्थापना अर्थात प्राण प्रतिष्ठा के आप साक्षी बनकर, मंत्राहुति करके,दिव्य त्रयामृत (जल,दूध,केसर) महामस्तकाभिषेक करके अपने समय, संस्कार, संस्कृति व संपत्ति का सदुपयोग कर सातिशय पुण्य का उपार्जन कर सकते है ।
तो आइए दिनांक 4 अप्रैल से 10 अप्रैल तक आपके आने का शुभ भाव ही पुण्य का प्रभाव बढ़ाएगा, जीवन को नए अनुभव से श्रृंगारित करेगा।
विस्तृत आयोजन इस प्रकार है 4 अप्रैल सोमवार को प्रातः घट – यात्रा ध्वजारोहण व गर्भ कल्याण पूर्व रूप,
5 अप्रैल मंगलवार प्रातः याग मंडल विधान व गर्भ कल्याण
6 अप्रैल प्रातः पांडुक शिला पर अभिषेक बाल क्रीड़ा के साथ जन्म कल्याणक महोत्सव,
7 अप्रैल प्रातः विधान दोपहर युवराज पद्म कुमार का वैराग्य दृश्य एवं दीक्षा संस्कार के बाद तप कल्याणक महोत्सव
8 अप्रैल प्रातः राजा सोमदत्त द्वारा महामुनि राज को आहार तत्पश्चात समोसारण व ज्ञान कल्याणक महोत्सव
9 अप्रैल को श्री 1008 पद्मप्रभु भगवान का महा मस्तकाभिषेक 10 अप्रैल मोक्ष कल्याणक महा महोत्सव के साथ संस्कार प्रणेता मुनि श्री 108 सौरभ सागर जी महाराज को आचार्य पद प्रतिष्ठा का महामहोत्सव के साक्षी बनाकर अपने मानव जीवन का उद्धार करें ।
मांगलिक कलश में आपका सहयोग
1-रत्न कलश-1,11,000 एक परिवार के 6 सदस्यों को अवसर
2-स्वर्ण कलश-51,000 (एक परिवार के 4 सदस्य को अवसर
3- रजत कलश -31000
एक परिवार के 2 सदस्यों को अवसर
4-श्री पद्मप्रभु कलश 11000
1 सदस्य को अवसर
5- पुष्पदंत कलश5100
1सदस्य को
6- पुष्पगिरी कलश – 2100
1 सदस्य को अवसर दिया जाएगा
आप आपनी स्वीकृति जल्द से जल्द हमारे पास भेजे जिससे आपके आगमन की समुचित व्यवस्था की जा सके।
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