भगवान की वेदी का मार्जन करना भी पूजा ही होती है.. – मुनि श्री पूज्य सागरजी

 

इंदौर ।( देवपुरी वंदना )भगवान की आराधना व उपासना हम श्री 1008 कल्पद्रुम महामंडल विधान में कर रहे है, जहां शेर व गाय एक साथ पानी पीते है. जैन धर्म का सिद्धांत द्रव्य व भाव पर टीका हुआ है. जब आप द्रव्य चढाते है तब उसके भाव बदल जाते है. व्यक्ति होटल, ढाबे व घर पर खाना खता है तब उसके भाव में परिवर्तन होता है, आपके भाव आपके परिणाम व आपके द्रव्य पर टीके है. पूजा पुण्य का काम करती है, आचार्य भगवंत ने कहा है की 35 प्रकार की पूजा होती है, भगवान की वेदी का मार्जन करना भी पूजा ही होती है. आप किसी भी प्रकार की सेवा से भगवान की पूजा कर सकते है. मंदिर जी की झाडू लगाना भी पूजा ही होती है. जो आपके पुण्य संचय को बढाती है. आपके आलिशान मकान में भगवान का स्थान रसोई घर या स्टोर रूम में ही होता है तभी आपको अपने घर परिवार के विवाह सम्बन्ध या स्वास्थ लाभ के लिए कुंडली दिखाने की जरुरत होती है.
उक्त आशीर्वचन अतिशय क्षेत्र नवग्रह जिनालय ग्रेटर बाबा की पुण्य भूमि पर चल रहे श्री 1008 कल्पद्रुम महामंडल विधान के तीसरे दिन अंतर्मुखी मुनि श्री 108 पूज्य सागरजी ने कहा.
इसके पूर्व मालवा प्रांत की गुलाबी भिन्न-भिन्नी ठंडक के वातावरण में एतिहासिक अकाल्पनिक मनमोहक साज सज्जा से सुशोभीत आकर्षक पंडाल परिसर में कैलंडर वर्ष के सन् 2024 के प्रथम दिन के शुभ अवसर पर मुख्य शांतिधारा जयपुर निवासी कंवरीलाल सुमित्रा जैन, उनके साथ ही सुरेशचंद जैन, गजेन्द्र जैन, महेंद्र जैन, विनोद जैन, विकास जैन के परिवारों द्वारा वृहद शांतिधारा अपने कुल परिवार, समाज व राष्ट्र की सुख-शांति की भावना को लेकर
नगर पुरोहित पंडित नितिन झांझरी, पंडित विनोद पगारिया, पंडित किर्तेश जैन वगिरिया के सानिध्य व पूज्य गुरुदेव के मुखारविन्द से शक्तिरुपाय चेतन्य मंत्रोच्चार के मध्य शांतिधारा कर नित्यनियम की पूजन व अर्घ के साथ श्री 1008 कल्पद्रुम महामंडल विधान की पूजन का लाभ लेते हुए अपने मानवीय जीवन की सार्थकता को गति प्रदान की. आज के चक्रवर्ती बनने का सौभाग्य प्रमोद जैन, प्रद्युमन जैन, पवन संगीता जैन, अनिल जी निधि सम्मैया को मिला.
महामहोत्सव के तृतीय दिवस पर दीप प्रज्वलन गुप्ती सदन मंदिर परिवार कालानी नगर ने किया. मुनिश्री का पाद-प्रक्षालन सूरजमल संजय कुमार रेखा जी पाटनी परिवार ने भक्तिभाव से चरणवंदन के साथ किया. साथ ही जिनवाणी भेट वीरेन्द्र कुमारजी बडजात्या परिवार धार व अभय कुमार जैन परिवार ने किया. मंगलाचरण नैना कासलीवाल, प्राची छाबड़ा, पिंकी कासलीवाल, रुपाली अजमेरा, टीना जैन, अन्नू पाटनी ने संगीतमय मंत्रमुग्ध स्तवनो पर किया. इसके साथ ही इंदौर की चंद्रप्रभु महिला मंडल, श्री दिगंबर जैन अंजनी नगर महिला मंडल, श्री दिगंबर जैन एल. एन. सिटी महिला मंडल व इन्द्र सेठी सहित अनेको समाज श्रेष्ठीयो ने मुनिश्री को श्रीफल भेट कर आशीर्वाद प्राप्त किया.
महोत्सव समीति के प्रमुख संयोजक नरेन्द्र वेद एवं हितेश कासलीवाल ने विस्तृत जानकारी देते हुए बताया की विधान महोत्सव में इंदौर शहर ही नहीं अपितु राजस्थान, उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र सहीत अन्य प्रान्तों से श्रावक श्राविकाए विधान में सम्मिलित होकर धर्मलाभ ले रहे है.

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